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स्वप्न और हस्तमैथुन के कारण, बिना-इच्छा भी इजैकुलेशन हो सकता है। इस स्थिति को नाइटफॉल कहते हैं।
जब एक लड़का किशोरावस्था में पहुंचता है तो उसके शरीर में कई बदलाव होते हैं। मुख्य परिवर्तनों में से एक शरीर में यौन अंगों की वृद्धि और हार्मोन परिवर्तन है।
शरीर में हार्मोन परिवर्तन के परिणामस्वरूप एक युवा लड़का हस्तमैथुन (मास्टरबेट) करना शुरू कर देता है और सेक्स के सपने देखता है।
नाइटफॉल से किसआयु वर्ग के पुरुष प्रभावित होते हैं?
आमतौर पर 13 से 17 साल की उम्र के बीच शुरू होते हैं।
वैसे तो युवा लड़कों में नाइटफॉल एक आम समस्या है, लेकिन किसी भी उम्र के पुरुष इस स्थिति से पीड़ित हो सकते हैं। यह पुरुषों को होने वाली एक सामान्य स्थिति है और इसलिए चिंता करने की कोई आवश्यकता नहीं।
इसके बारे में शिक्षित रहें?
नाइटफॉल सिर्फ शर्मनाक नहीं है, बल्कि उन बच्चों के लिए मानसिक रूप से परेशान करने वाला हो सकता है। जो इसके बारे में नहीं जानते हैं। परिवार और दोस्तों के साथ चर्चा करना शर्मनाक है।
तो नाइटफॉल के बारे में सटीक जानकारी प्राप्त करने का सबसे अच्छा तरीका है कि ऐसे विषयों पर ब्लॉग के सही स्रोत को पढ़कर, अपने आप को शिक्षित किया जाए।
इसके अलावा आप विशिष्ट सहायता के लिए डॉक्टर के पास जा सकते हैं।
आधुनिक जीवन में पोर्नोग्राफी और इंटरनेट जैसे कई विकर्षण (distraction) हैं। ये विकर्षण सेक्स को गलत तरीके से दिखाते है। नियमित रूप से पोर्न देखने वाले युवकों को नाइटफॉल के कारण काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है। नाइटफॉल होने का एक और कारण है- सेक्स के बारे में गलत धारणाएं।
सेक्स के बारे में बोलना वर्जित है और इसलिए इसके बारे में केवल फुसफुसाते हुए बोला जाता है। किशोरों और युवाओं को सेक्स और उन्हें होने वाली समस्याओं के बारे में सही जानकारी मिलनी चाहिए, जिससे कि उन्हें सही जानकारी मिल सके।
स्वप्नदोष से शरीर पर क्या प्रभाव पड़ता है ?
बहुत लोग नाईट फॉल को ठीक करने के लिए अंग्रेजी दवाओं का सहारा लेते हैं तो कुछ लोग आयुर्वेदिक उपचार की मदद लेते हैं।
घरेलू उपाय के द्वारा भी नाईट फॉल की समस्या को रोका जा सकता है, क्यों की यदि यह ज्यादा होता है तो शरीर में कई तरह के प्रभाव पड़ते हैं। अगर नाईट फॉल बहुत ही ज्यादा होता है तो शरीर में धीरे-धीरे कमजोरी आने लगती है और फिर किसी भी काम को करने में मन नहीं लगता है शरीर की ताकत धीरे-धीरे कम होने लगती है और शरीर में आलस्य फैलने लगता है। इसके अलावा आप के गुप्त अंगो पर भी इसका निगेटिव असर पड़ता है।
स्वप्नदोष के नुकसान
नाइटफॉल का क्या कारण है?
नाइटफॉल कई कारणों से हो सकता है और आमतौर पर हानिरहित होता है। यह आमतौर पर उम्र के साथ ठीक हो सकता है, लेकिन अगर यह बार-बार होता है तो यह चिंता का कारण हो सकता है।
- बहुत अधिक अश्लील पोर्नोग्राफी देखना
- रात में फुल ब्लैडर के साथ बिस्तर पर जाना
- मोटापा
- तनाव
- फिजिकल इनैक्टिविटी
- सेक्स हार्मोन के सप्लीमेंट्स लेना
- यौन गतिविधि की कमी
- कमजोर मांसपेशियां
- जननांगों की अत्यधिक उत्तेजना
- अपर्याप्त स्खलन
नाइटफॉल के बारे में क्या कहते हैं डॉक्टर:
डॉक्टर आपको कई उपायों के बारे में बताएँगे – कुछ उपायों में मसालेदार भोजन से बचना, उचित आहार और व्यायाम जैसे टहलना, बिस्तर पर जाने से पहले पेशाब करना, पोर्न से बचना, कब्ज से बचना, अच्छी किताबें पढ़ना और सोने से पहले सुखदायक संगीत सुनना शामिल हैं।
जो लोग टेस्टोस्टेरोन दवाएं ले रहे हैं उन्हें रात में होने वाली परेशानी से बचने के लिए दवाएं लेना बंद कर देना चाहिए या इसकी डोज़ कम कर देनी चाहिए।
आयुर्वेदिक डॉक्टर को दिखाना अच्छा है क्योकि वह केवल बीमारी का नाम सुनकर दवाई नहीं लिखते, अपितु समग्र रूप से समस्या को समझकर उनका समाधान करते है।
आयुर्वेदिक ग्रंथों के अनुसार वीर्य स्राव व्यक्ति के आहार, दृश्य सुख, यौन इच्छा और जीवन शैली पर निर्भर करता है।
क्या लड़कियों को भी स्वप्नदोष की समस्या होती है?
अध्ययनों में पाया गया है कि पुरुषों में महिलाओं की तुलना में अधिक और लगातार नाईट फॉल का अनुभव होता हैं। महिला में नाईट फॉल का अनुभव पुरुष के नाईट फॉल के अनुभव की तुलना में निश्चितता के साथ पहचानना अधिक कठिन हो सकता है क्योंकि स्खलन आमतौर पर पुरुष स्खलन से संबंधित होता है जबकि योनि स्नेहन सही से नाईट फॉल संकेत नहीं दे सकता है।
नाईटफॉल के बारे में गलत धारणाये (Common Myth)
लोगों को नाइटफॉल के मिथकों को दूर करना चाहिए और समझना चाहिए कि यह पुरुषों की एक सामान्य स्थिति है।
नाइटफॉल के मिथकों के बारे में निम्नलिखित विश्वास शामिल है कि:
- नाइटफॉल के कारण इरेक्शन की समस्या हो सकती है।
- शुक्राणुओं (स्पर्म) में कमी।
- परवर्जन और नियमित हस्तमैथुन (मास्टरबेट) से नाइटफॉल होता है।
- यह पुरषो में यौन क्रिया की क्षमता को कम कर देता है।
- पुरुषों को अक्सर लगता है कि नाइटफॉल से लिंग का आकार कम हो जाता है।
घरेलु उपचार
आयुर्वेद में नाइटफॉल का बहुत इलाज है। आयुर्वेद बताता है कि नाइटफॉल एक ऐसी स्थिति है जो तनाव, चिंता और आधुनिक जीवन की व्यस्त जीवन शैली के कारण होती है। उचित व्यायाम और आहार और जीवनशैली में कुछ बदलाव करके इसे आसानी से दूर किया जा सकता है। आयुर्वेद, योग और ध्यान के साथ-साथ, नाइटफॉल से बचने के लिए सुखदायक स्नान का भी समर्थन करता है।
आयुर्वेद में प्रदान की जाने वाली दवाएं (Medicine For Night ) एक व्यक्ति को बहुत ताकत हासिल करने में सक्षम बनाती हैं और साथ ही नाइटफॉल की समस्या को कम करके आत्मविश्वास हासिल करने में भी मदद करती हैं।
बिस्तर पर जाने से पहले
1. स्नान करना
आवश्यक तेलों के साथ स्नान करना सहायक होता है, क्योंकि यह शरीर और मन को शांत करता है और अच्छी नींद में सहायता करता है
2. ध्यान से एकाग्रता बढ़ती है
ध्यान से आंतरिक भावनाओं को नियंत्रित किया जा सकता है। यह पुरुषों को अवांछित गतिविधियों में शामिल होने से विचलित करने में मदद करता है और बहुत प्रभावी है।
3. रात को बादाम का दूध पीना।
4. सोने से पहले किताब पढ़कर, मन को डिस्ट्रैक्ट करना।
व्यायाम और योग
व्यक्ति को अपने मन, शरीर और आत्मा पर पूर्ण नियंत्रण रखने की मदद करते हैं। नियमित योग और व्यायाम करने से सेक्स-संबंधी गतिविधियाँ नियंत्रण में होती हैं जो स्वप्नदोष को रोकती हैं।
आहार में बदलाव
आहार में बदलाव से स्वप्नदोष को रोका जा सकता है। जो पुरुष इस समस्या से पीड़ित हैं उन्हें अम्लीय भोजन से बचना चाहिए।
आयुर्वेदिक उपचार
स्वप्नदोष को नियंत्रित करने या रोकने के लिए निम्नलिखित आयुर्वेदिक उपचार किए जा सकते हैं:
1. लौकी
लौकी में शीतलन प्रभाव होता है, जिससे स्वप्नदोष प्रणाली को ठंडक मिलती है। इसका उपयोग दो तरीकों से किया जा सकता है, या तो रात को सोने से पहले लौकी का रस पीने या रस को तिल के तेल के साथ मिलाकर मालिश किया जा सकता है।
2. आंवला
आंवला शरीर की प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाने में मदद करता है। ऐसा माना जाता है कि एक ग्लास आंवले का जूस सुबह खाने के एक घंटे बाद, पीने से नाइटफॉल से छुटकारा मिलता है।
3. प्याज और लहसुन
प्याज और लहसुन कई स्वास्थ्य संबंधी स्थितियों को ठीक करने के लिए जाने जाते हैं। इसका भी इसतेमाल किया जा सकता है।
4. दूध
पहले से भिगोए हुए बादाम, केला और अदरक के साथ मिलाने पर दूध इस समस्या को खत्म करने में मदद करता है। केले में शीतलन गुण होता है जो समस्या को नियंत्रित करने में मदद करता है। सुबह खाने के साथ ज्यादा असरदार परन्तु आप रात को भी पी सकते है।
5. दही
दही खाना फायदेमंद होता है क्योंकि इसमें हीलिंग गुण होते हैं जो सिस्टम को ठंडा करते हैं और इम्यूनिटी बढ़ाते हैं।
6. अजवाइन और मेथी का रस
अजवाइन और मेथी का रस नाइटफॉल के साथ-साथ शीघ्रपतन में भी बहुत मददगार होता है। इन रसों को 2: 1 के अनुपात में शहद के साथ मिश्रित करके, सुबह खाली पेट या दोपहर में खाने के बाद ले सकते है।
स्वप्नदोष के लिए योगासन –
नाईट फॉल के लिए योगासन एक अच्छा तरिका है। नाईट फॉल के लिए कुछ योगासन सही माने जाते हैं, जो कि आपके दिमाग को शांत रखने और जननांग में ब्लड फ्लो को नियंत्रित रखने में मदद करते हैं। जो इस प्रकार निम्नलीखित हैं।
Q&A
युवाओं के पास नाइटफॉल से जुड़े कई सवाल होते है, हमने इनके जवाबो के साथ, यह सवाल निचे पोस्ट किये है:
Q.1 क्या नाइटफॉल सेहत के लिए हानिकारक है?
नाइटफॉल को स्वास्थ्य के लिए बुरा नहीं माना जाता है क्योंकि यह स्वस्थ यौन अंगों के साथ-साथ यौवन (पुबर्टी) का भी संकेत है। हालांकि, बार-बार नाइटफॉल होने से शरीर पर कुछ नकारात्मक प्रभाव हो सकते हैं जैसे कि यह व्यक्ति को शारीरिक, मानसिक और यौन रूप से कमजोर बना सकता है।
अत्यधिक नाइटफॉल अनिद्रा, घुटने में दर्द, मानसिक समस्याओं, तनाव और स्मृति हानि का कारण बन सकती है।
Q.2 सप्ताह में कितनी बार नाइटफॉल सामान्य है?
प्रति सप्ताह लगभग 2-3 नाइटफॉल समान्य है।
Q.3 क्या नाइटफॉल सामान्य है?
विशेषज्ञों के अनुसार, नाइटफॉल होना सामान्य माना जाता है, साथ ही यह स्वस्थ यौन अंगों के काम करने का भी संकेत है। आमतौर पर नाइटफॉल सप्ताह में एक या दो बार होता है।
Q.4 सोते समय शुक्राणु (स्पर्म्स) क्यों निकलते हैं?
यह एक अनैच्छिक स्खलन (इन्वॉलन्टरी इजैकुलेशन) है। नाइटफॉल, आमतौर पर रात में बेडशीट या यौन सपने के साथ जननांगों की उत्तेजना के कारण होता है। बाद वाला कारण, स्पर्म्स के रिसाव का कारण हो सकता है।
Q.5 वेट ड्रीम्स किस उम्र में शुरू होते हैं?
वेट ड्रीम्स आमतौर पर 13 से 17 वर्ष की आयु के लड़कों में यौवन(पुबर्टी) के दौरान शुरू होते हैं। ये पुरुषों में यौवन(पुबर्टी) के लक्षण होते हैं जैसे: आवाज में बदलाव, लिंग में वृद्धि, चेहरे के बाल हैं। जब लड़के युवावस्था में आते हैं, तो उनके टेस्टिस और स्क्रोटम का लिंग के साथ-साथ बढ़ना जारी रहता है, जो प्यूबिक हेयर के विकास के लिए आगे बढ़ता है।
Q.6 किशोरावस्था में क्या नाइटफॉल, लड़को की लंबाई को प्रभावित करता है?
नहीं! ये आमतौर पर उसी समय शुरू होते हैं जब विकास तेजी से होता है या बहुत करीब होता है। नाइटफॉल संकेत हैं कि लड़का यौवन (पुबर्टी) तक पहुंच गया है, यह टेस्टिस और स्क्रोटम की वृद्धि को प्रदर्शित करता है जिससे लिंग का विकास होता है।
Q.7 क्या नाइटफॉल होने से ताकत कम हो जाती है?
बार-बार नाइटफॉल होने से थकावट और ताकत का नुकसान हो सकता है। हालांकि, ताकत और नाइटफॉल होने के बीच कोई सीधा संबंध नहीं है। नाइटफॉल से होने वाली थकान और शक्ति की हानि बेचैनी, अनिद्रा, तनाव और स्मृति हानि का परिणाम है।
निष्कर्ष
नाइटफॉल होना एक बहुत ही आम बात है। इसको बीमारी समझना बिलकुल ठीक नहीं है। हम आशा करते है की हमारी इस लेख ने आपको स्वपनदोष के बारे में सारी जानकारी उपलब्ध करवा दी होगी।
यदि आप को स्वपनदोष अत्यधिक हो तो कृपया आयुर्वेद चिकित्सक या मनोवैज्ञानिक से परामर्श लें।
क्या आपको ये लेख पसंद आया? तो इसको साझा करना न भूलें। और इसके बारे में फीडबैक भी नीच कमैंट्स सेक्शन में बताना न भूलें।
जय हिन्द!
-हर्ष चतुर्वेदी
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